BSE और Angel One: बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज यानी बीएसई के शेयरों की कीमत में गुरुवार को 5 प्रतिशत तक की कमी आई यह तब हुआ जब सेबी के अध्यक्ष तुहिन कांता पांडे ने इक्विटी डेरिवेटिव्स के समय को बढ़ाने की बात कही सेबी एक ऐसी संस्था है जो शेयर बाजार को नियंत्रित करती है पांडे ने कहा कि हमें शेयर बाजार में कुछ खास तरह के निवेश के समय को और लंबा करना चाहिए इससे बाजार को और मजबूती मिलेगी।

SEBI का नया विचार
तुहिन कांता पांडे ने एक बड़े सम्मेलन में बताया कि सेबी जल्द ही एक कागज जारी करेगा जिसमें डेरिवेटिव्स के समय को बढ़ाने पर चर्चा होगी डेरिवेटिव्स एक खास तरह का निवेश होता है जिसमें लोग भविष्य में कीमतों का अनुमान लगाकर पैसा कमाते हैं सेबी चाहता है कि ये निवेश और लंबे समय तक चलें ताकि बाजार में और लोग हिस्सा लें साथ ही सेबी नकद बाजार में भी ज्यादा गतिविधि चाहता है।
BSE के प्रमुख का बयान
बीएसई के प्रमुख सुंदररमन राममूर्ति ने कहा कि भारत में नियम हमेशा बदलते रहते हैं उन्होंने बताया कि सेबी जो भी फैसला लेगा वो उसका इंतजार करेंगे उनके पास मौजूद जानकारी के आधार पर वो यह नहीं कह सकते कि डेरिवेटिव्स का कारोबार अपने उच्चतम स्तर पर है बीएसई अब अलग-अलग तरीकों से कमाई बढ़ाने पर ध्यान दे रहा है।
ब्रोकरों की बात
एंजेल वन के दिनेश ठक्कर ने बताया कि उनकी कंपनी की 45 प्रतिशत कमाई डेरिवेटिव्स से आती है वहीं राजेश बहेटी ने कहा कि डिस्काउंट ब्रोकर और एक्सचेंज की 85 प्रतिशत कमाई डेरिवेटिव्स से होती है अगर सेबी के नए नियम लागू हुए तो एनएसई की कमाई में 35 से 40 प्रतिशत और बीएसई की कमाई में 50 से 60 प्रतिशत की कमी आ सकती है सामान्य ब्रोकरों की कमाई में भी 10 से 15 प्रतिशत की कमी हो सकती है।
शेयरों की कीमत
बीएसई के शेयर 7.1 प्रतिशत गिरकर 2343.2 रुपये पर और एंजेल वन के शेयर 6.2 प्रतिशत गिरकर 2553 रुपये पर कारोबार कर रहे थे यह खबर बच्चों को यह समझने में मदद करती है कि शेयर बाजार में बदलाव कैसे होते हैं और ये बदलाव कंपनियों को कैसे प्रभावित करते हैं।